WhatsApp: मैसेजिंग या ऑनलाइन चैटिंग की दुनिया में व्हाट्सएप सबसे प्रभावी ऐप है। हालाँकि, इंटरनेट की कमी के कारण व्हाट्सएप के माध्यम से चैटिंग नहीं की जा सकती है। कई बार आप ऐसे इलाके में मौजूद होते हैं जहां कोई नेटवर्क या वाईफाई नहीं है तो उस दौरान व्हाट्सएप भी उपयोगी नहीं होता है। ऐसे में काफी परेशानी होती है, लेकिन अब गूगल की ओर से मैसेजिंग ऐप के लिए एक नया सैटेलाइट मैसेजिंग फीचर पेश किया जा रहा है। आइए जानते हैं नया फीचर कैसे काम करता है।
सैटेलाइट मैसेजिंग क्या है?
इस फीचर में यूजर का गूगल मैसेजिंग फीचर सीधे सैटेलाइट कनेक्टिविटी से लिंक हो जाएगा। मतलब इसके लिए
मोबाइल टावर की जरूरत नहीं होगी. यूजर गूगल सैटेलाइट मैसेजिंग टूल खोलकर सीधे मैसेज भेज सकेगा। इसमें
आपका फोन सीधे सैटेलाइट से कनेक्ट हो जाएगा। इसमें टू-वे मैसेजिंग की जा सकती है। पिछले हफ्ते आई रिपोर्ट
के मुताबिक, गूगल आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस यानी एआई चैटबॉट जेमिनी के इंटीग्रेशन के साथ मैसेजिंग ऐप का
नया बीटा वर्जन लॉन्च करने जा रहा है।
WhatsApp को मिलेगी सीधी टक्कर!
गूगल सैटेलाइट मैसेजिंग फीचर के आने से व्हाट्सएप को बड़ी सफलता मिलने की उम्मीद है। साथ ही
गूगल का नया मैसेजिंग फीचर आईफोन के इमरजेंसी मैसेजिंग फीचर से काफी बेहतर होगा, क्योंकि इसमें
इमरजेंसी सर्विस के साथ-साथ जरूरी मैसेज का रिप्लाई करने की भी सुविधा होगी। इसमें यूजर्स अपनी कॉन्टैक्ट
लिस्ट में मौजूद किसी भी कॉन्टैक्ट से संपर्क कर पाएंगे।
इस बारे में अभी कोई जानकारी नहीं है
यह फीचर एंड्रॉइड 15 रोलआउट से पहले यूजर्स के लिए उपलब्ध कराया जाएगा या नहीं। एंड्रॉइड ओएस
“ऑटो-कनेक्टेड टू सैटेलाइट” अधिसूचना के साथ-साथ स्टेटस बार में एक सैटेलाइट आइकन के साथ आता है।
Google अपनी मैसेजिंग सेवा को बेहतर बनाने की दिशा में काम कर रहा है। मैसेजिंग ऐप अपने इमेज-शेयरिंग