Woman Created History: सुबह नाश्ते में आलू के पराठे के साथ अगर आचार मिल जाए तो सोने पर सुहागा आचार वो भी ऑर्गेनिक हो तो क्या बात है। ऐसा ही आचार घुंघट में रहकर नीतू देवी बना रही है कि आप आचार खाते खाते उगिलयां चाटने लग जाओगे। पहले घर में बुजुर्ग जब आम का आचार, नींबू का आचार, आवले का आचार, गोभी का आचार, मीर्च का आचार ,गाजर का आचार, करेले का आचार बनाती थी। तो उस आचार का टेस्ट ही अलग था। लेकिन बक्त बदला अब वो टेस्ट नही मिलता। जो पहले मलता था लेकिन नीतू देवी ने फिर से वही टेस्ट की याद दिला दी है।
Woman Created History: आचार काफी समय तक ठीक रहता है
घुंघट के बीच ऑर्गेनिक आचार बनाने ली ये महिला राजस्थान के भेटाला गांव की नीतू देवी है. नीतू हर प्रकार का अचार बनाती हैं। जिसमें आम का आचार, नींबू का आचार आवले का आचार, गोभी का आचार, मीर्च का आचार, गाजर का आचार, करेले का आचार,टमाटर का आचार, लाल मिर्च, सांगरी का आचार, लसोड़े का आचार बनाती है। नीतू बताती है कि आचार बनाने के लिए वह कच्ची घानी सरसों का तेल प्रयोग करती है। कच्ची घानी का तेल आचार को प्राकृतिक खुशबू देता और आचार काफी समय तक ठीक रहता है।
आचारों में विशेष रूप से वह सेंधा नमक ही प्रयोग करती है
नीतू देवी खुद खड़े मसालों को पीसकर आचार के लिए मसाले तैयार करती हैं। इन आचारों में विशेष रूप से वह सेंधा नमक ही प्रयोग करती है। जो कि ऑर्गेनिक है। नीतू का व्यवस्या अब इतना हो गया। कि आचार बनानेके लिए गांव की 10 महिलाओं को भी काम दे रही हैं। जिनमें से 5 विधवा महिलाएं शामिल हैं। नीतू इन ऑर्गेनिक आचारों को तैयार कर बाजारों की दुकानों और मेलो में बेचती हैं। इन आचारों का मूल्य ₹300 किलो है।
नीतू देवी ने कहा कि हम सब केवल ये जानते है। कि सेंधा नमक केवल व्रत में ही खाया जाता है। इस नमक को शुद्ध रूप माना जा सकता है। सेंधा नमक को तैयार करने के लिए केमिकल का प्रयोग नही किया जाता। सेंधा नमक को खाने से पाचन क्रिया मजबूत रहती है। वही कब्ज, अपच, गैस- सीने में जलन होने जैसी बीमारियों को भी कम करने में मदद करता है
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